छुट्टे जानवर से लगभग पूरे प्रदेश के किसान त्रस्त हैं | यह शायद पहला मौक़ा है , जब इसे बड़ी जनसमस्या समझकर आवाज़ बुलंद की जा रही है | वरना हमारे प्रदेश में ऐसा भी हो चुका है कि हर्रैया [ बलरामपुर ] पुलिस की 100 नंबर की गाड़ी ने कुछ समय पहले एक गाय को बचाने के लिए एक वृद्धा को टक्कर मार दी और उसके प्राण – पखेरू उड़ गए | फिर इसी पुलिस ने  ग्राम मैनडीह में एक सांड को खेत से भगाने में बल – प्रयोग करने पर गाँव के लोगों को परेशान किया | ये छुट्टे जानवर और बंदर यहाँ के किसानों के लिए बड़ी मुसीबत बने हुए हैं , लेकिन उलटे उनकी प्रताड़ना की जा रही है ! साथ ही किसान जो कंटीले तार लगा रहे हैं , उनसे जानवरों को काफ़ी नुकसान पहुंच रहा है | इस समस्या की ओर अब जागरूकता आई है | ऐसा महसूस किया जाता है कि इस समस्या का शीघ्र हल नहीं किया गया , तो भाजपा के वोटों पर इसका नकारात्मक प्रभाव पड़ेगा |

तरबगंज के प्रसिद्ध समाजसेवी घनश्याम जायसवाल ने प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्य नाथ को इस सन्दर्भ में पत्र भेजा है और उनसे मिलकर इस समस्या के निदान हेतु प्रयासरत हैं | उन्होंने जो पत्र भेजा है , वह इस प्रकार है —- श्रीमान माननीय मुख्यमंत्री महोदय, उत्तर प्रदेश शासन ,लखनऊ

विषय :- छुट्टा जानवर के निदान के संदर्भ में

महोदय सादर अवगत कराना चाहता हूं कि जनपद गोंडा में इस समय छुट्टा जानवर से बहुत बड़ी समस्या हो रही है । मैं यह आरोप नहीं लगा रहा हूं कि प्रदेश सरकार या केंद्र सरकार का कोई दोष है ना आपके द्वारा कोई जानवर छोड़ा गया है। किसानों द्वारा समस्या उत्पन्न की गई है । लेकिन जब कोई बड़ी समस्या हो जाती है । तो उसका निदान सरकार ही कर सकती है । इसलिए हम आपसे निवेदन करना चाहते हैं। इस समस्या का निदान करने की कृपा करें जानवर से हानियां सड़क पर चलने वाले मोटरसाइकिल सवार व गाड़ियां इन की चपेट में आ जाते हैं खुद मोटरसाइकिल सवार घायल हो जाते हैं इतना ही नहीं बड़ी गाड़ियों से टकराने के बाद छुट्टा जानवर भी घायल हो जाते हैं।
किसान बैंक से कर्ज लेकर फसलों का उत्पादन करता है लेकिन यह छुट्टा जानवर अधिक मात्रा में पहुंचकर उनके फसल को बर्बाद करते रहे जिससे किसान दोतरफा मार झेल रहा है एक तो लागत के बाद अनाज उत्पन्न नहीं हो रहा है दूसरी तरफ किसान को ब्याज तले दबे जा रहा है।

फसल की रखवाली के लिए कटीले तार लगाए जिससे घायल होकर जानवर गाय बैल बछड़ा घायल होकर तड़प रहे हैं कई जानवरों को अधिक खून बहने की वजह से मर भी जा रहे हैं।

समाचार पत्रों में लगातार खबरें आ रही हैं सांड के हमला से कई लोग मर चुके हैं कई लोग घायल हो चुके हैं अब इस बड़ी समस्या का निदान श्रीमान जी आप ही कर सकते हैं।

घनश्याम जायसवाल , सामाजिक कार्यकर्ता , तरबगंज गोंडा , मो.  96 7000 2847

[ Bharatiya Sanvad , News Desk ]

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