खासमखास

छेड़िए इक जंग, मिल-जुल कर ग़रीबी के ख़िलाफ़

पिछले हफ़्ते एक साथ दो ख़बरें मीडिया में आईं। पहली ख़बर यह कि पिछले दस वर्षों में सरकारी गोदामों में रखा क़रीब सात लाख अस्सी हज़ार कुंतल अनाज सड़ गया। सड़ने की ख़ास वजह अनाज का बरसाती पानी से भीगना बताया जाता है। यह तथ्य भी सामने आया कि बदइन्तिज़ामी Read more…

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भ्रष्टाचार – रिश्वतख़ोरी का अंत ऊपर से ही

हमारे देश में रिश्वत लेना और रिश्वत देना दोनों ग़ैर क़ानूनी है , अपराध है , फिर भी दोनों का लगातार फैलाव होता जा रहा है। इसी वर्ष 24 जुलाई को भ्रष्टाचार निवारण संशोधन विधेयक लोकसभा में पारित होने और बाद में क़ानून बनने से ऐसा लगने लगा था कि Read more…

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काले धन की बोतल से निकला संदेसरा जिन्न !

ललित मोदी , विजय माल्या , मेहुल चौकसी , नीरव मोदी आदि के बाद गुजरात की फार्मा कंपनी स्टर्लिंग बायोटेक का मालिक नितिन जयंतीलाल संदेसरा और उसका परिवार पिछले दिनों भारतीय बैंकों का 5,383 करोड़ रुपए क़र्ज़ लेकर देश से भाग चुका है। बताया जाता है कि भारत से दुबई Read more…

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लखनऊ में पत्रकारिता के नाम पर ठगी, पत्रकार फंसा

      वही हेमन्त कुमार मिश्रा ने एक हिन्दी साप्ताहिक/मासिक समाचार पत्र के संपादक विनीत कुमार राय, महेश साहू, चन्द्र प्रकाश श्रीवास्तव सहित दाबिर सिद्दीकी, सुनील कुमार के नाम झूठा मुकदमा दर्ज कराया है। हेमन्त कुमार मिश्रा ने इन अखबार के संपादकों के खिलाफ मुकदमा इसलिए दर्ज कराया कि इन संपादकों द्वारा Read more…

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कोई भी देश अपना पी एम हरगिज़ नहीं खोएगा !

सच है, दुनिया का कोई भी देश अपने प्रधानमंत्री पर हमले की साज़िश को नज़र अंदाज़ नहीं कर सकता है | ऐसा करना भी नहीं चाहिए | फिर जब हमारे देश में अराजकतावादी ऐसा करने की साज़िश रचते हैं, और उनकी धरपकड की जाती है, तो इतनी हाय – तौबा Read more…

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112 वर्ष पुराने कॉसमॉस बैंक को ले उड़े हैकर, ख़ज़ाना ख़ाली, क्या महाजनी व्यवस्था लौटेगी ? 

एस बी आई और पंजाब नेशनल बैंक में साइबर सेंधमारी में लाखों रुपए की चपत लगने के बाद से ही हम बार – बार यह सुनते आए हैं कि सरकार बैंकिंग सुरक्षा को बढ़ा रही है | लेकिन अमलन यही हो रहा है कि साइबर अपराधी लोगों की गाढ़ी कमाई पर डाका Read more…

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ए पी जे अब्दुल कलाम और समान नागरिक संहिता

पूर्व राष्ट्रपति श्री ए पी जे अब्दुल कलाम ने समान नागरिक संहिता को देश के लिए बहुत आवश्यक बताया था | इस सन्दर्भ में प्रस्तुत हैं दो प्रतिष्ठित समाचार पत्रों — नवभारत टाइम्स और THE TIMES OF INDIA के दिल्ली संस्करण की कतरनें By ” BHARATIYA SANVAD ” DESK

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जब न रहेगा आर टी आई , कैसे होगी भ्रष्टाचार की पिटाई?

आर टी आई भ्रष्टाचार के ख़िलाफ़ एक कारगर ‘हथियार’ है , जिसे हर वह देश अपना रहा है , जो लोकतांत्रिक होने का दावा करता और दम – खम रखता है |आज दुनिया के लगभग 80 देशों में आर टी आई क़ानून लागू है | सबसे पहले स्वीडन ने सूचना Read more…

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जो – जो काला है सफ़ेद कर दो , काले धन का नामोनिशान बाक़ी नहीं रहेगा !

अब सट्टेबाज़ी और मैच फिक्सिंग को भी कानूनी बनाने की साज़िश तेज़ हो गई है | जबकि इन्हें लेकर क्रिकेट की दुनिया बंट गई है | देश के लॉ कमीशन ने इस बाबत एक प्रस्ताव लाकर खेल प्रेमियों और देश की अर्थव्यवस्था के जानकारों को चौंका दिया है | लॉ Read more…

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गाय की आड़ में इन्सान दुश्मनी का खेल

देश की क़ानून – व्यवस्था पर सवाल उठाती हुई माब लिंचिंग की वीभत्स घटनाएं जारी हैं | झारखंड और उत्तर प्रदेश में मवेशी चोरी और गोकुशी के आरोप में तीन लोगों की पिछले दिनों पीट-पीट कर हत्या कर दी गई | झारखंड के गोड्डा ज़िले के देवटांड़ थाना क्षेत्र के Read more…

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अति स्वार्थी और धूर्त क्यों बनते जा रहे लोग ?

अर्थव्यवस्था सम्पूर्ण सामाजिक व्यवस्था का सबसे महत्वपूर्ण अंग मानी जा सकती है। क्योंकि इसका सम्बंध सभी लोगों की भौतिक आवश्यकताओं की पूर्ति से होता है और उनकी निरन्तर पूर्ति के बिना व्यक्ति के सुखद जीवन की कल्पना भी नहीं की जा सकती। अतः अर्थव्यवस्था की उपयुक्तता और सफलता की कसौटी Read more…

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पत्रकार के साथ महंगी पड़ी पुलिस की दबंगई , एस टी एफ इंसपेक्टर सस्पेंड

‘जनसंदेश टाइम्स’ के संपादक और वरिष्ठ कवि सुभाष राय के गोमतीनगर, लखनऊ आवास पर उनसे और भाभीजी के साथ एस टी एफ के इंसपेक्टर रणजीत राय ने किस प्रकार अभद्रता और गुंडागर्दी की , उसे स्वयं श्री राय ने कलमबंद किया है | गौरतलब है कि इस गंभीर मामले के Read more…

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ओम प्रकाश वाल्मीकि : मानवीय संवेदना के मार्मिक आयामों के चितेरे

मेरे आत्मीय मित्र वरिष्ठ कथाकार एवं कवि श्री ओमप्रकाश वाल्मीकि जी अब हमारे बीच नहीं रहे | 18 नवंबर 2013 को उनका देहरादून [ उत्तराखंड ] में देहावसान हो गया | इस महान रचनाधर्मी को दलित साहित्य सृजक कहना अनुचित है | वे सही अर्थों में मानवीय संवेदना के मार्मिक Read more…

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सवालों के घेरे में क्यों उत्तर प्रदेश पुलिस ?

  मुठभेड़ों को लेकर उत्तर प्रदेश पुलिस को सवालों के घेरे में क्यों लाया जा रहा है ? यह बात सहज बुद्धि की कल्पना से परे है | आख़िर कोई बताए कि क्या हिंसा पर उतारू अपराधियों के गले में पुष्प माला डाल कर स्वागत किया जाएगा ? या उनके Read more…

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आधार पर ‘अष्टांग योग ‘– सरकार की सांसत

आधार कार्ड की अनिवार्यता को लेकर सुप्रीम कोर्ट में जारी सुनवाई के बीच केंद्र सरकार ने नये सिम के लिए अब आधार की अनिवार्यता हटा दी है | आधार मामले में विगत 26 अप्रैल को सुप्रीमकोर्ट द्वारा सरकार पर लगाई गई फटकार के बाद सरकार ने यह क़दम उठाया है Read more…